उत्तराखंडऊधमसिंह नगरकुमाऊंबागेश्वर

उत्तराखंड में एक ही दिन में तेंदुओं ने दो मासूमों पर किया हमला,दोनों की मौत

कुमाऊं में वन्यजीवों का आतंक थम नहीं रहा है। पहाड़ से लेकर मैदान तक तेंदुए की दहशत देखने को मिल रही है। कुमाऊं में दो दिन में ही तेदुंए के हमले की तीन घटनाएं सामने आई है। जिसमें दो बच्चों की मौत हो गई।

ऊधमसिंह नगर के नानकमत्ता क्षेत्र में रनसाली रेंज के प्लाट संख्या चार के समीप ग्राम बिचवा भूड़ निवासी कुलविंदर सिंह उर्फ किंदा खेती-बाड़ी करते हैं। बृहस्पतिवार दोपहर एक बजे उनका 13 वर्षीय बेटा गुरप्रीत सिंह उर्फ गोपी घर के आंगन में लगे नल में हाथ धो रहा था। तभी गन्ने के खेत से निकला तेंदुआ गोपी की गर्दन पकड़कर खींच ले गया।

गुरप्रीत का शोर सुन परिजन बाहर आए। उनके शोर मतचाने से आस-पास काम कर रहे ग्रामीण भी वहां आए और खेत की ओर दौड़ पड़े। इतने में तेंदुआ जंगल की ओर भाग गया। घायल गुरप्रीत को परिजन आनन-फानन में अस्पताल लेकर गए। जहां डॉक्टरो ने उसे मृत घोषित कर दिया।

बागेश्वर जिले की कांडा तहसील धरमघर वन रेंज के औलानी गांव निवासी रवि उप्रेती की तीन वर्षीय बेटी योगिता उर्फ भूमिका बृहस्पतिवार शाम करीब छह बजे अपनी दादी कला उप्रेती के साथ खेल रही थी। साथ ही उसका छोटा भाई शौर्य भी था। तभी तेंदुए ने हमला कर दिया और योगिता को उठा ले गया। परिजन और ग्रामीणों शोर मचाते हुए दौड़े तो तेंदुआ बच्ची को कुछ दूरी पर छोड़कर जंगल की ओर भाग गया, लेकिन तब तक उसकी मौत हो चुकी थी।

घटना की जानकारी मिलने के बाद वन विभाग की चार टीमों को मौके पर भेजा गया है। मुख्य वन्य जीव प्रतिपालक उत्तराखंड से पिंजरा लगाने और तेंदुए को ट्रैंकुलाइज करने की अनुमति मिल गई है।

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